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Delhi Mansoon Update: दिल्ली में जल्द दस्तक देगा मॉनसून, 12 साल का रिकॉर्ड टूटने की संभावना, IMD ने जारी किया अलर्ट

Delhi Mansoon Update: दिल्ली में जल्द दस्तक देगा मॉनसून, 12 साल का रिकॉर्ड टूटने की संभावना, IMD ने जारी किया अलर्ट

दिल्ली में 24 जून को मॉनसून पहुंचने की संभावना है, जो 2013 के बाद सबसे जल्दी होगा। आज भी बारिश और तेज हवाओं का अलर्ट है। उत्तर भारत के कई हिस्सों में भारी बारिश की चेतावनी जारी है।

Delhi Mansoon: दिल्ली-एनसीआर में मॉनसून के आगमन की उलटी गिनती शुरू हो चुकी है। अगर दिल्ली में 24 जून को पहली मॉनसूनी बारिश होती है तो यह 2013 के बाद सबसे जल्दी मॉनसून आगमन होगा। मौसम विभाग ने आज 23 जून को भी बारिश, तेज हवाओं और तूफान का अलर्ट जारी किया है। इससे पहले 2013 में 16 जून को पहली बारिश दर्ज की गई थी।

उत्तर भारत के कई हिस्सों में पहुंचा मॉनसून

भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के अनुसार, मॉनसून अब उत्तर भारत के पहाड़ी राज्यों तक पहुंच चुका है। लद्दाख, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर और पंजाब के अधिकतर हिस्सों में मॉनसून सक्रिय हो गया है। अगले 24 से 48 घंटों में यह हरियाणा, दिल्ली, चंडीगढ़, राजस्थान और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में भी पहुंच सकता है।

बारिश का अलर्ट और हवाओं का असर

दिल्ली में 23 जून को शाम और रात के समय हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना है। इस दौरान 30-40 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से तेज हवाएं चल सकती हैं। इसके साथ ही गरज-चमक और बिजली गिरने का भी अनुमान है। मौसम विभाग ने लोगों को सतर्क रहने और जरूरी एहतियात बरतने की सलाह दी है।

पिछले वर्षों में मॉनसून आगमन की तारीखें

2013: 16 जून

2021: 13 जुलाई

2022: 30 जून

2023: 25 जून

2024: 28 जूनअगर

2025 में मॉनसून 24 जून को दिल्ली पहुंचेगा तो यह पिछले 12 वर्षों में सबसे जल्दी होगा।

देशभर में भारी बारिश की चेतावनी

मौसम विभाग के अनुसार, 26 जून तक उत्तर-पश्चिम भारत, मध्य प्रदेश, गुजरात, कोंकण और गोवा में भारी से बहुत भारी बारिश हो सकती है। मध्य प्रदेश में 23 और 24 जून को अत्यधिक भारी वर्षा की आशंका है। पूर्वोत्तर राज्यों में अगले दो दिन भारी बारिश और उसके बाद हल्की से मध्यम बारिश का अनुमान है।

मॉनसून की इस बार समय से पहले दस्तक

2025 में मॉनसून 24 मई को केरल पहुंचा था, जो 2009 के बाद सबसे पहले आगमन है। 2009 में मॉनसून 23 मई को केरल पहुंचा था। अरब सागर और बंगाल की खाड़ी पर मजबूत मौसम प्रणालियों के कारण मॉनसून ने तेज गति पकड़ी और 29 मई तक मुंबई, पूर्वोत्तर राज्यों और मध्य भारत के अधिकांश हिस्सों को कवर कर लिया था।

हालांकि, इसके बाद 29 मई से 16 जून तक मॉनसून की गति में ठहराव आया और देश के कई हिस्सों में तापमान में तेज वृद्धि देखने को मिली। फिर 16 जून से 18 जून के बीच दो निम्न दबाव क्षेत्रों के सक्रिय होने के कारण मॉनसून ने दोबारा रफ्तार पकड़ी।

मॉनसून की सामान्य प्रगति

केरल: 1 जून

मुंबई: 11 जून

दिल्ली: 30 जून

देशभर में: 8 जुलाई

वापसी: 17 सितंबर से शुरू होकर 15 अक्टूबर तक पूरी होती है।

क्या मॉनसून की शुरुआती तारीख से होती है बारिश की भविष्यवाणी?

मौसम विशेषज्ञों का मानना है कि मॉनसून की शुरुआत की तारीख का बारिश की कुल मात्रा से सीधा संबंध नहीं होता। मॉनसून की प्रगति वैश्विक, क्षेत्रीय और स्थानीय कारकों पर निर्भर करती है। इसलिए यह जरूरी नहीं कि मॉनसून का जल्दी या देर से आना बारिश की अधिकता या कमी का संकेत दे।

आईएमडी का मॉनसून पूर्वानुमान

भारतीय मौसम विभाग के अनुसार, जून से सितंबर के बीच औसतन 106 प्रतिशत बारिश होने की संभावना है। दीर्घावधि औसत 87 सेमी मानी जाती है। 96 से 104 प्रतिशत के बीच बारिश को 'सामान्य' की श्रेणी में रखा जाता है।

किन राज्यों में कितनी बारिश संभव

इस वर्ष देश के अधिकांश हिस्सों में सामान्य से अधिक बारिश की संभावना है। लद्दाख, हिमाचल प्रदेश के सीमावर्ती क्षेत्र, पूर्वोत्तर राज्यों के कुछ हिस्सों, बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल और ओडिशा में सामान्य बारिश हो सकती है। वहीं, पंजाब, हरियाणा, केरल और तमिलनाडु के कुछ क्षेत्रों में सामान्य से कम वर्षा संभव है।

जनता के लिए जरूरी चेतावनी और सलाह

बारिश के दौरान बिजली, तेज हवा और तूफान जैसी स्थितियों से बचने के लिए सुरक्षित स्थानों पर रहें। मोबाइल फोन, चार्जर और इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों का प्रयोग सावधानी से करें। सड़कों पर जलभराव और ट्रैफिक में रुकावट के लिए पहले से योजना बनाएं। किसानों को भी खेतों में जल निकासी की व्यवस्था सुनिश्चित करने की सलाह दी गई है।

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