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Mission Impossible The Final Reckoning Review: एथन हंट को मिली प्रशंसकों से तारीफ, जानें कैसी हैं कहानी

Mission Impossible The Final Reckoning Review: एथन हंट को मिली प्रशंसकों से तारीफ, जानें कैसी हैं कहानी
अंतिम अपडेट: 18-05-2025

हॉलीवुड सिनेमा के एक यादगार और शानदार किरदार, आईएमएफ के एजेंट एथन हंट, की विदाई बड़े परदे पर हो रही है। साल 1996 में पहली बार अपनी तेज़-तर्रार और रोमांचक कहानी के साथ दर्शकों का दिल जीतने वाला यह किरदार अब अपनी अंतिम कड़ी के साथ पर्दे पर अपनी कहानी को पूरा कर रहा है।

एंटरटेनमेंट: हॉलीवुड की सबसे मशहूर और लंबे समय से चली आ रही जासूसी फ्रेंचाइजी ‘मिशन इंपॉसिबल’ का आठवां और संभवतः अंतिम अध्याय ‘द फाइनल रेकनिंग’ बड़े पर्दे पर दस्तक दे चुका है। इस फिल्म में टॉम क्रूज ने अपनी जानी-मानी भूमिका एथन हंट को फिर से जीया है, लेकिन इस बार उनके फैंस को मिलने वाली अनुभव की गहराई में कुछ कमी नजर आती है। फिल्म के बड़े बजट, ग्लोबल लोकेशन्स, और भारी भरकम एक्शन के बावजूद कहानी और पटकथा ने दर्शकों की उम्मीदों पर खरा नहीं उतर पाया है।

  • Movie Review: मिशन इंपॉसिबल: द फाइनल रेकनिंग
  • कलाकार: टॉम क्रूज , हेयली एटवेल , विंग रेम्स , साइमन पेग , हेनरी जर्नी और एंजेला बैसेट आदि
  • लेखक: क्रिस्टोफर मैकक्वैरी , एरिक जेन्डरसन और ब्रूस गेलर
  • निर्देशक: क्रिस्टोफर मैकक्वैरी
  • निर्माता: टॉम क्रूज और क्रिस्टोफर मैकक्वैरी
  • रिलीज: 17 मई 2025 (भारत)
  • रेटिंग:  3/5

फ्रेंचाइजी की यादों से शुरू, लेकिन कहानी में कमी

फिल्म की शुरुआत पुराने और यादगार दृश्यों के साथ होती है, जो फ्रेंचाइजी के प्रशंसकों को पहले के मिशनों की याद दिलाती है। हालांकि, जब खुद ‘द फाइनल रेकनिंग’ की कहानी शुरू होती है, तब धीरे-धीरे दर्शकों का मन मोह पाना मुश्किल होता है। कहानी में नए ट्विस्ट और मोड़ की कमी साफ महसूस होती है। 

फिल्म में एक बार फिर से एथन हंट को एक खतरनाक मिशन पर भेजा जाता है, जहां उसे कृत्रिम मेधा (AI) के नियंत्रण से जुड़े खतरों को खत्म करना होता है। यह मिशन कई खतरनाक लोकेशन्स, जैसे समुद्री गहरे हिस्से, बर्फीले इलाके और विदेशी शहरों में घटित होता है।

टॉम क्रूज और क्रिस्टोफर मैकक्वैरी की जोड़ी पर शिकन

इस फ्रेंचाइजी के दिल और जान माने जाने वाले टॉम क्रूज और निर्देशक क्रिस्टोफर मैकक्वैरी के बीच का रसायनात्मक तालमेल इस फिल्म में उतना प्रभावी नहीं दिखा। पिछली चार ‘मिशन इंपॉसिबल’ फिल्मों में दोनों ने मिलकर फ्रेंचाइजी को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया था, लेकिन ‘द फाइनल रेकनिंग’ में कहानी का फ्लो कमजोर होने से यह जोड़ी उतनी दमदार नहीं लगती। फिल्म की पटकथा काफी हद तक अपेक्षित और पुरानी परतों पर ही चलती नजर आती है, जिससे फिल्म में रोमांच की जगह कहीं-कहीं सुस्ती का एहसास होता है।

एक्शन तो है, लेकिन वह खास वो जादू नहीं

जैसा कि ‘मिशन इंपॉसिबल’ फिल्मों की पहचान रही है, टॉम क्रूज ने इस फिल्म में भी खुद के स्टंट करने का जोखिम उठाया है। समुद्र की गहराइयों में कैप्चरिंग, आसमान में स्काइडाइविंग जैसे दृश्य फिल्म के हाईलाइट्स हैं। परन्तु, पूरे 170 मिनट की अवधि में एक्शन सीक्वेंस के बावजूद वह उत्साह और थ्रिल जो पहले फिल्मों में देखने को मिलता था, इस बार उतनी ताकत से सामने नहीं आया। कहानी के कमजोर होने के कारण दर्शक सीट से ज्यादा जुड़े नहीं रह पाते।

भावुकता और पुराने दोस्तों की वापसी

फिल्म का सबसे अच्छा हिस्सा तब आता है जब एथन हंट के पुराने और नए साथी एक बार फिर साथ आते हैं। खासतौर पर लूथर (विंग रेम्स) और बेनजी (साइमन पेग) जैसे किरदारों ने फ्रेंचाइजी में अपने अलग ही रंग बिखेरे हैं। लूथर का फिल्म के अंत में दिया गया ऑडियो संदेश, ‘वी विल मिस यू एथन हंट’, फ्रैंचाइजी को भावुक और गरिमामय अंत देने में सफल रहा। इसी के साथ एथन हंट के सेवानिवृत्त होने का यह पल फैंस के लिए खास बन गया है।

राष्ट्रपति का संदेश और युद्ध-विरोधी सोच

फिल्म में एक अहम और सार्थक पहलू अमेरिकी राष्ट्रपति के किरदार के जरिए सामने आया है, जो युद्ध के खिलाफ एक ठोस संदेश देता है। वर्तमान वैश्विक तनाव और युद्ध की संभावनाओं के बीच यह संदेश दर्शकों के दिल को छू जाता है। यह दर्शाता है कि युद्ध किसी समस्या का समाधान नहीं और समझदारी व संवाद से ही स्थायी शांति लाई जा सकती है। साथ ही, राष्ट्रपति के बेटे को फौज में एक साधारण सैनिक के रूप में दिखाना और उसके प्रति पिता की गर्व भरी स्वीकार्यता, पारंपरिक सोच से हटकर नया नजरिया प्रस्तुत करता है।

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