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समुद्री सीपों पर लिखे '86 47' से मचा बवाल: क्या जेम्स कॉमी ने दी ट्रंप को धमकी? एफबीआई कर रही जांच

समुद्री सीपों पर लिखे '86 47' से मचा बवाल: क्या जेम्स कॉमी ने दी ट्रंप को धमकी? एफबीआई कर रही जांच
अंतिम अपडेट: 16-05-2025

फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (FBI) के पूर्व निदेशक जेम्स कॉमी पर अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के खिलाफ कथित हत्या की धमकी देने का आरोप लगा है। यह आरोप अमेरिका की होमलैंड सुरक्षा सचिव क्रिस्टी नोएम ने लगाया। 

वॉशिंगटन: अमेरिका की राजनीति एक बार फिर विवादों के साए में आ गई है। इस बार मामला जुड़ा है अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से, जिन्हें लेकर कथित रूप से हत्या की धमकी देने का आरोप लगा है एफबीआई के पूर्व निदेशक जेम्स कॉमी पर। इस विवाद की शुरुआत एक सोशल मीडिया पोस्ट से हुई, जिसमें समुद्र तट पर कुछ सीपों पर '86 47' अंकित दिखाई दिए। इन अंकों का अर्थ क्या है और क्या यह वास्तव में एक हिंसक संकेत था, इसी को लेकर अमेरिका में बहस छिड़ गई है।

क्या है पूरा मामला?

हाल ही में जेम्स कॉमी ने इंस्टाग्राम पर समुद्र तट की एक तस्वीर साझा की थी, जिसमें कुछ सीपों पर "86 47" लिखा हुआ था। यह तस्वीर पोस्ट होते ही वायरल हो गई और कई लोगों ने इसे डोनाल्ड ट्रंप के खिलाफ एक छिपी हुई धमकी के रूप में देखा। अमेरिका की होमलैंड सिक्योरिटी सचिव क्रिस्टी नोएम ने इस पर तीखी प्रतिक्रिया दी और दावा किया कि '86' शब्द को अमेरिकी स्लैंग में ‘हत्या’ या ‘खत्म कर देना’ माना जाता है, जबकि '47' डोनाल्ड ट्रंप के 47वें राष्ट्रपति होने की ओर इशारा करता है।

क्रिस्टी नोएम ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा, पूर्व एफबीआई निदेशक जेम्स कॉमी ने सार्वजनिक रूप से डोनाल्ड ट्रंप की हत्या की मांग की है। यह एक गंभीर मामला है और हम इस धमकी को नजरअंदाज नहीं कर सकते। डीएचएस और सीक्रेट सर्विस मामले की गहराई से जांच कर रही है।

कॉमी ने क्या दी सफाई?

विवाद के बाद बढ़ते दबाव को देखते हुए जेम्स कॉमी ने अपनी इंस्टाग्राम पोस्ट हटा दी और इस पूरे घटनाक्रम पर सफाई दी। उन्होंने कहा, मैं समुद्र तट पर टहल रहा था और मुझे कुछ सीपों पर ये नंबर दिखाई दिए। मुझे यह एक सामान्य और दिलचस्प तस्वीर लगी, इसलिए मैंने इसे साझा कर दिया। मुझे यह बिल्कुल भी अंदाजा नहीं था कि ये नंबर किसी राजनीतिक संदेश या हिंसा के संकेत के रूप में लिए जाएंगे।

कॉमी ने आगे लिखा, मैं किसी भी प्रकार की हिंसा का कट्टर विरोधी हूं। मैं कभी भी इस तरह की सोच का समर्थन नहीं कर सकता। यदि किसी को इससे ठेस पहुंची हो, तो मैं खेद व्यक्त करता हूं। इसी कारण मैंने वह पोस्ट तुरंत हटा ली।

ट्रंप पर पहले भी हो चुका है हमला

यह घटना ऐसे समय में सामने आई है जब डोनाल्ड ट्रंप पर पहले ही कई बार जानलेवा हमले हो चुके हैं। जुलाई 2024 में पेंसिल्वेनिया की एक रैली के दौरान ट्रंप पर फायरिंग हुई थी, जिसमें गोली उनके कान को छूती हुई निकल गई थी। इस हमले में वे बाल-बाल बचे थे, लेकिन यह दिखाता है कि उनकी सुरक्षा को लेकर खतरा अब भी बना हुआ है।

जेम्स कॉमी की पोस्ट को लेकर अमेरिकी खुफिया एजेंसियां सतर्क हो गई हैं। फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (FBI) और यूनाइटेड स्टेट्स सीक्रेट सर्विस (USSS) दोनों ही मामले की जांच कर रहे हैं। विशेषज्ञों के अनुसार, किसी भी सार्वजनिक व्यक्ति द्वारा संदिग्ध प्रतीकों या संकेतों का उपयोग गंभीरता से लिया जाता है, खासकर जब मामला राष्ट्राध्यक्ष से जुड़ा हो।

यह मुद्दा अमेरिकी समाज में दो हिस्सों में बंट चुका है। एक वर्ग इसे जेम्स कॉमी की मासूम गलती मान रहा है, जबकि दूसरा इसे एक पूर्व वरिष्ठ अधिकारी द्वारा जानबूझकर किया गया संकेत मान रहा है। सोशल मीडिया पर भी यह बहस जोरों पर है। कुछ लोग "86" शब्द के असली अर्थ और उसकी व्याख्या को लेकर सवाल उठा रहे हैं।

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