5 अगस्त 2025 से Android 8 और 9 यूजर्स को Chrome अपडेट नहीं मिलेगा। Google ने इन वर्जन्स के लिए सपोर्ट बंद करने का फैसला लिया है। सुरक्षा और परफॉर्मेंस प्रभावित हो सकती है।
Google Chrome: अगर आप Android 8 (Oreo) या Android 9 (Pie) वर्जन वाले स्मार्टफोन का इस्तेमाल कर रहे हैं, तो यह खबर आपके लिए बेहद जरूरी है। Google ने हाल ही में आधिकारिक घोषणा की है कि वह इन पुराने एंड्रॉइड वर्जन पर Chrome ब्राउजर का सपोर्ट बंद करने जा रहा है। Chrome का वर्जन 138 इन ऑपरेटिंग सिस्टम्स के लिए आखिरी अपडेट होगा, और यह बदलाव 5 अगस्त 2025 से लागू किया जाएगा।
क्या है पूरा मामला?
Google ने आधिकारिक तौर पर घोषणा की है कि Chrome ब्राउज़र का वर्जन 138, Android 8 और Android 9 पर मिलने वाला आखिरी अपडेट होगा। इसके बाद जो भी Chrome वर्जन आएंगे, जैसे वर्जन 139 और आगे, वो सिर्फ Android 10 या उससे नए वर्जन पर ही इंस्टॉल और रन किए जा सकेंगे।
इसका मतलब यह हुआ कि Android Oreo और Pie पर अब Chrome की अपडेट यात्रा रुक जाएगी। हालाँकि, मौजूदा वर्जन डिवाइस में चलता रहेगा, लेकिन उसमें कोई नई सुविधा, सिक्योरिटी अपडेट या परफॉर्मेंस सुधार नहीं मिलेगा।
5 अगस्त 2025 से लागू होगा यह नियम
Google ने इस बदलाव की तारीख भी तय कर दी है — 5 अगस्त 2025। इस दिन के बाद जिन डिवाइसेज़ में Android 8 या 9 है, वे Chrome के नए वर्जन को डाउनलोड नहीं कर पाएंगे। Chrome भले ही खुल जाए, लेकिन धीरे-धीरे उसमें सुरक्षा कमजोरियाँ आने लगेंगी और ब्राउज़िंग अनुभव भी प्रभावित होगा।
Google ने क्यों लिया ये फैसला?
Google ने अपने बयान में बताया कि यह निर्णय तकनीकी कारणों से लिया गया है। दरअसल, Android 8 और 9 को क्रमशः 2017 और 2018 में लॉन्च किया गया था। अब ये ऑपरेटिंग सिस्टम टेक्नोलॉजी की रफ्तार के हिसाब से काफी पुराने हो चुके हैं। नई तकनीकों और सिक्योरिटी सिस्टम्स को इन वर्जन्स पर लागू करना न सिर्फ कठिन है, बल्कि इसमें अधिक संसाधन भी खर्च होते हैं।
Google अब अपने डेवलपमेंट फोकस को आधुनिक Android वर्जन्स, जैसे Android 10, 11, 12 और उससे ऊपर की तरफ केंद्रित करना चाहता है। इससे कंपनी Chrome को और अधिक सुरक्षित, तेज़ और यूज़र-फ्रेंडली बना पाएगी।
करोड़ों यूजर्स होंगे प्रभावित
हालांकि भारत जैसे देश में बड़ी संख्या में लोग नए स्मार्टफोन की ओर शिफ्ट कर चुके हैं, लेकिन दुनिया के कई हिस्सों में, खासकर एशिया, अफ्रीका और लैटिन अमेरिका में, अभी भी करोड़ों लोग बजट स्मार्टफोन का इस्तेमाल कर रहे हैं। इन फोन्स में अक्सर Android 8 या 9 ऑपरेटिंग सिस्टम देखने को मिलता है।
इन यूजर्स के लिए यह फैसला एक तरह से चेतावनी है। क्योंकि वे अब Chrome ब्राउजर के लेटेस्ट फीचर्स और सिक्योरिटी लेयर्स से वंचित हो जाएंगे। उनके लिए यह ब्राउजिंग को धीमा, असुरक्षित और तकनीकी रूप से पिछड़ा बना सकता है।
Google की यूज़र्स को सलाह
Google ने उन यूज़र्स को सलाह दी है जो अभी भी Android Oreo या Pie पर हैं, कि वे जल्द से जल्द अपने स्मार्टफोन को Android 10 या उससे ऊपर अपग्रेड करें। ऐसा करने से उन्हें Chrome के भविष्य के सभी अपडेट्स, नए फीचर्स और सिक्योरिटी पैचेस मिलते रहेंगे।
अगर फोन अपग्रेड करना संभव नहीं है (जैसे हार्डवेयर लिमिटेशन के कारण), तो Google यह भी संकेत दे रहा है कि नया डिवाइस लेना एकमात्र सुरक्षित विकल्प हो सकता है।
क्या है इस फैसले का बड़ा संकेत?
Google का यह कदम सिर्फ Chrome तक सीमित नहीं है। यह टेक्नोलॉजी इंडस्ट्री में चल रहे उस रुझान को भी दर्शाता है, जिसमें कंपनियाँ पुराने सिस्टम्स के बजाय आधुनिक प्लेटफॉर्म्स पर फोकस कर रही हैं। इससे सॉफ्टवेयर अधिक सुरक्षित, तेज़ और स्मार्ट बन पाएंगे।
इससे यह भी स्पष्ट होता है कि स्मार्टफोन यूज़र्स को समय-समय पर अपने डिवाइस और ऑपरेटिंग सिस्टम को अपडेट करना जरूरी है, ताकि वे न केवल सुविधाओं में आगे रहें, बल्कि डेटा की सुरक्षा भी सुनिश्चित हो सके।