देश की प्रमुख कमर्शियल वाहन निर्माता अशोक लीलैंड ने शुक्रवार को जानकारी दी कि उसे पतंजलि परिवहन प्राइवेट लिमिटेड से एडवांस्ड 300 ट्रकों की आपूर्ति का बड़ा ऑर्डर मिला है।
नई दिल्ली: भारत के परिवहन उद्योग में एक नई और अहम शुरुआत हुई है, जब देश की जानी-मानी वाणिज्यिक वाहन निर्माता कंपनी अशोक लीलैंड और तेजी से उभरती लॉजिस्टिक्स कंपनी पतंजलि परिवहन के बीच 300 ट्रकों की डील पर मुहर लगी। इस साझेदारी की पहली खेप की डिलीवरी शुक्रवार को उत्तर भारत में की गई, जिसमें 25 ट्रक पतंजलि परिवहन को सौंपे गए।
इस डील को दोनों कंपनियों ने केवल एक व्यावसायिक अनुबंध न मानते हुए लॉजिस्टिक्स की क्षमता और आत्मनिर्भर भारत की दिशा में एक मजबूत कदम बताया है। जहां अशोक लीलैंड इसे अपनी इंजीनियरिंग और भरोसेमंद सेवा का प्रमाण मान रहा है, वहीं पतंजलि परिवहन इसे अपने सेवा विस्तार और परिचालन क्षमता के लिए एक बड़ा योगदान बता रही है।
समारोह में दिखा सहयोग का उत्साह
डिलीवरी समारोह के दौरान अशोक लीलैंड के एमएचसीवी (मीडियम एंड हेवी कमर्शियल व्हीकल्स) विभाग के प्रेसिडेंट संजीव कुमार और पतंजलि परिवहन के संस्थापक राम भरत मंच पर साथ दिखाई दिए। संजीव कुमार ने 1916 मॉडल ट्रकों की चाबियां राम भरत को सौंपते हुए कहा कि यह केवल वाहनों की डिलीवरी नहीं बल्कि लॉजिस्टिक्स के क्षेत्र में एक मजबूत और नवाचारी सहयोग की शुरुआत है।
उन्होंने कहा कि अशोक लीलैंड का हमेशा से लक्ष्य रहा है कि वह उच्च गुणवत्ता, टिकाऊपन और कुशल सेवाएं प्रदान करें। पतंजलि परिवहन जैसे भरोसेमंद और मूल्य आधारित ग्राहकों के साथ यह साझेदारी हमारी प्रतिबद्धता को और मजबूत करती है।
ट्रक की विशेषता और तकनीकी मजबूती
1916 मॉडल ट्रक, जिसे पतंजलि परिवहन को सौंपा गया है, न केवल दमदार इंजन क्षमता के लिए जाना जाता है, बल्कि इसकी भार वहन करने की क्षमता और कम ईंधन खपत इसे लॉजिस्टिक्स क्षेत्र के लिए आदर्श विकल्प बनाती है। यह ट्रक अशोक लीलैंड की लेटेस्ट तकनीक और मजबूत निर्माण गुणवत्ता का प्रतीक है।
कंपनी का कहना है कि इन ट्रकों में लॉन्ग-हॉल कमर्शियल ट्रांसपोर्ट को ध्यान में रखकर डिजाइन किया गया है। इससे लंबी दूरी की माल ढुलाई अधिक सटीक और कुशल बनती है। यह ट्रक खास तौर पर फार्मा, एफएमसीजी, कृषि उत्पाद और रिटेल सप्लाई जैसे क्षेत्रों के लिए उपयोगी सिद्ध हो सकते हैं।
पतंजलि परिवहन की विस्तार योजना को मिलेगा बल
पतंजलि परिवहन के संस्थापक राम भरत ने कहा कि कंपनी के संचालन में समयबद्धता और विश्वसनीयता सर्वोच्च प्राथमिकता है। उन्होंने बताया कि कंपनी उत्तर भारत की तेजी से बढ़ती परिवहन सेवाओं में से एक है और उनके पास पहले से लगभग 1000 ट्रकों का सक्रिय बेड़ा है।
उन्होंने यह भी जोड़ा कि अशोक लीलैंड से 300 ट्रकों का यह नया ऑर्डर कंपनी की लॉजिस्टिक्स क्षमता को दोगुना करेगा। इसकी मदद से पतंजलि न केवल अपनी प्रोडक्ट डिलीवरी समय पर कर पाएगी, बल्कि भारत के अधिक राज्यों और दूरदराज के इलाकों तक अपनी सेवाएं पहुंचा सकेगी।
भरोसे पर आधारित सहयोग
इस डील की सबसे खास बात यह रही कि दोनों कंपनियों ने तकनीकी पहलुओं से परे जाकर एक-दूसरे के ब्रांड मूल्यों और दृष्टिकोण को सराहा। अशोक लीलैंड की नेशनल सेल्स हेड माधवी देशमुख ने कहा कि पतंजलि के साथ हमारा सहयोग केवल एक व्यवसायिक लेन-देन नहीं है, यह विश्वास और मूल्य आधारित सेवा का उदाहरण है।
उन्होंने कहा कि अशोक लीलैंड का लक्ष्य न केवल ट्रक बेचना है, बल्कि ग्राहक की आवश्यकताओं को समझते हुए लॉजिस्टिक्स को अधिक कुशल बनाना भी है। इस साझेदारी के तहत आफ्टर-सेल्स सपोर्ट, स्पेयर पार्ट्स की सुगमता और 24 घंटे सेवा केंद्र जैसी सुविधाएं भी दी जाएंगी।
भविष्य की योजनाएं और संकेत
यह साझेदारी लॉजिस्टिक्स क्षेत्र में एक बड़े बदलाव का संकेत भी है। भारत में बढ़ती ई-कॉमर्स, एफएमसीजी और कृषि उत्पादों की मांग के साथ ट्रांसपोर्ट और लॉजिस्टिक्स की भूमिका लगातार बढ़ती जा रही है। ऐसे में बड़े ट्रांसपोर्ट ऑपरेटरों और विश्वसनीय वाहन निर्माताओं के बीच इस तरह का सहयोग न केवल उद्योग के लिए लाभदायक है, बल्कि रोजगार और सेवा विस्तार के लिए भी कारगर साबित हो सकता है।
पतंजलि परिवहन का लक्ष्य अगले दो वर्षों में अपने ट्रक बेड़े को दोगुना करना है, जिसमें हर जोन में क्षेत्रीय केंद्रों की स्थापना और रूट ऑप्टिमाइजेशन के लिए डिजिटल ट्रैकिंग सिस्टम की शुरुआत शामिल है।